'प्राथमिक क्रियाएं'
MCQ Questions:
प्र.1. इनमें से कौन से पशु पालन में पशुओं की विशेष देखकर एक वैज्ञानिक रूप में देखभाल की जाती है?
उ.1. वाणिज्य पशुधन पालन।
प्र.2. रोपण कृषि की शुरुआत भारत में किसके द्वारा की गई थी?
उ.2. यूरोपीय लोगों द्वारा।
प्र.3. झूम कृषि को मलेशिया में किस नाम से जाना जाता है?
उ.3. लादांग।
प्र.4. निम्नलिखित में से किस कृषि कोलखहोज कहा जाता था जिसकी शुरुआत सोवियत संघ में हुई?
उ.4. सामूहिक कृषि।
प्र.5. झूमिंग कृषि अथवा झूम कृषि के नाम से किस कृषि को जाना जाता है?
उ.5. आदिकालीन निर्वाह कृषि।
प्र.6. प्राथमिक क्रियाओं के अंतर्गत कौन-कौन सी चीजें आती है?
उ.6. कृषि, आखेट, पशुपालन।
प्र.7. चलवासी पशुचारण एक ____ पशुचारण है।
उ.7. जीवन निर्वाह।
प्र.8. चावल प्रधान गहन कृषि में _____ कृषि है।
उ.8. प्रति इकाई उत्पादन ज्यादा।
प्र.9. खट्टे फलों की आपूर्ति के लिए विश्व में कौन सा क्षेत्र सर्वाधिक प्रसिद्ध है?
उ.9. भूमध्यसागरीय क्षेत्र।
प्र.10. 'फेजेंडा' किससे संबंधित है?
उ.10. ब्राजील के कॉफी के बागान।
प्र.11. निम्न देशों में से किस देश में सहकारी कृषि का सफल परीक्षण किया गया है?
उ.11. डेनमार्क।
प्र.12. निम्न प्रदेशों में से किसमें विस्तृत वाणिज्य अनाज कृषि नहीं की जाती है?
उ.12. अमेजन बेसिन।
Important Questions:
प्र.1. चलवासी पशुचारण एवं वाणिज्य पशुधन पालन में अंतर स्पष्ट करें।
उ.1. चलवासी पशुचारण: (i) चलवासी पशुचारण में पशुपालक अपने पालतू पशुओं के साथ पानी एवं चारागाह के लिए एक स्थान से दूसरे स्थान जाते रहते हैं।
(ii) क्षेत्र को भौगोलिक विशेषता के अनुसार पशु पाले जाते हैं जैसे उष्णकटिबंधीय अफ्रीका में गाय बैल सहारा एवं एशिया के मरुस्थल में भेड़ बकरी एवं ऊंट।
(iii) यह एक जीवन निर्वाह व्यवसाय के रूप में है इसमें पशुपालन के पारंपरिक तरीके अपनाए जाते हैं।
वाणिज्य पशुधन पालन: (i) इसमें पशुओं को एक विशाल फर्म में एक ही जगह पर रखा जाता है एवं चराई को नियंत्रित करने के लिए संपूर्ण क्षेत्र को छोटी छोटी इकाइयों में बांटा जाता है।
(ii) इसमें मुख्य रूप से एक ही प्रकार के पशु पाले जाते हैं जैसे भेड़, बकरी, गाय, बैल एवं घोड़े।
(iii) यह व्यापार की दृष्टि से व्यवस्थित एवं पूंजी प्रधान व्यवसाय है। इसमें पशुओं के प्रजनन, स्वास्थ्य तथा उत्पादों के संसाधित करने में वैज्ञानिक तरीके प्रयोग में लिए जाते हैं।
प्र.2. रोपण कृषि की प्रमुख विशेषताएं बताते हुए इसके अंतर्गत फसलों के नाम लिखो।
उ.2. (i) कृषि क्षेत्र का आकार विस्तृत हो जाता है अधिक पूंजी निवेश उच्च प्रबंध एवं वैज्ञानिक विधियों का प्रयोग होता है इसमें एक फसल के उत्पादन पर ध्यान केंद्रित किया जाता है।
(ii) रोपण कृषि की फसलों को एक बार रोक कर कई वर्षों तक फसल ली जाती है जैसे चाय कॉफी का को रबड़ कपास गन्ना अकेला एवं अनानास।
प्र.3. गहन निर्वाह कृषि एवं विस्तृत वाणिज्य कृषि में अंतर बताएं।
उ.3. गहन निर्वाह कृषि: (i) इस कृषि में खेतों के आकार छोटे होते हैं उन पर निर्भर जनसंख्या घनत्व सघन होता है।
(ii) इस कृषि में कृषक परिवार के लोग ही श्रम करके उत्पादन वृद्धि करते हैं।
(iii) इस कृषि में अधिकतर कार्य हाथ से एवं कम से कम यांत्रिक विधि का प्रयोग किया जाता है।
(iv) इसके अंतर्गत मुख्यतः चावल गेहूं की खेती की जाती है।
विस्तृत वाणिज्य कृषि:
प्र. 4. निर्वाह कृषि क्या है? आदिकालीन निर्वाह कृषि की कोई चार विशेषता बताइए।
उ. 4. यह एक प्रकार की कृषि है इसमें बस इतनी जल्दी है कि परिवार का पेट भर सके और लोगों का गुजर बसर हो सके।
आदिकालीन निर्वाह कृषि की चार विशेषताएं:-
(i) उष्णकटिबंधीय क्षेत्रों में की जाती है इसे स्थानांतरणीय कृषि भी कहते हैं
(ii) वनस्पति को जला दिया जाता है राख उर्वरक का काम करती है।
(iii) खेती में पुराने औजार, लकड़ी, कुदाल का प्रयोग।
(iv) भारत के उत्तरी पूर्वी राज्य में - झूमिंग।
मध्य अमेरिका एवं मेक्सिको में - मिल्पा।
मलेशिया इंडोनेशिया में - लदांग।
प्र.5. बाजार के लिए सब्जी खेती एवं उद्यान कृषि का क्या अर्थ है? इसकी चार विशेषता बताओ।
उ.5. इस प्रकार की कृषि में अधिक मुद्रा मिलने वाले फसलें जैसे पुष्प, फल, सब्जी और इसकी मांग नगरीय क्षेत्रों में होती है।
इसकी विशेषता:
(i) खेत का आकार छोटा होता है।
(ii) खेत अच्छे यातायात के साधनों द्वारा नगरीय क्षेत्रों से जुड़े होते हैं।
(iii) गहन श्रम एवं अधिक पूंजी की आवश्यकता होती है और अच्छे बीज, सिंचाई, उर्वरक, कीटनाशकों का प्रयोग होता है।
(iv) इस कृषि को ट्रक कृषि के नाम से भी जाना जाता है और यह मुख्य रूप से यूरोप, अमेरिका, भूमध्यसागरीय प्रदेशों में किया जाता है।
प्र.6. डेरी कृषि का क्या महत्व है? विश्व में नगरीय और औद्योगिक केंद्रों के निकट मुख्य रूप से क्यों की जाती है?
उ.6. डेरी कृषि का महत्व: डेरी कृषि अपने में पूर्ण आर्थिक क्रिया है डेरी कृषि में मुख्य रूप से दूध, घी, मक्खन,पनीर और पौष्टिक आहार मिलता है वेरी कृषि व्यवसाय दुधारू पशुओं के पालन पोषण का उन्नत एवं प्रकार है।
नगरीय और औद्योगिक केंद्रों के निकट डेरी कृषि:
(i) नगरीय और औद्योगिक केंद्र दूध और डेरी उत्पादन के सर्व प्रमुख उपभोक्ता है।
(ii) यह डेयरी उत्पादों को बाजार उपलब्ध कराती है।
(iii) नगरों और औद्योगिक केंद्रों में डेयरी उत्पादो की मांग अधिक हैं। (iv) दुग्ध उत्पादों के परिवहन की रेफ्रिजरेटर की एवं पश्चुराइज की व्यवस्था इस कृषि के लिए आवश्यक है क्योंकि दुग्ध उत्पाद बहुत शीघ्र खराब होने वाले होते हैं।
प्र.7. भूमध्यसागरीय कृषि क्या है? इसकी विशेषता बताओ।
उ.7. यह अति विशिष्ट प्रकार की कृषि है जो खट्टे फलों की आपूर्ति के लिए मशहूर है।
भूमध्यसागरीय कृषि की विशेषता:
(i) इसके अंतर्गत मुख्य रूप से अंगूर अंजीर जैसे फलों की खेती की जाती है।
(ii) शीत ऋतु में यूरोप एवं अमेरिका में फलों एवं सब्जियों की मांग की पूर्ति करता है।
(iii) इस कृषि को भूमध्य सागर के समवर्ती क्षेत्रों में की जाती है।
- ब्राजील में अभी भी कुछ कॉफी के बागान है जिन्हें फजेंडा कहा जाता है।
प्र.8. विस्तृत वाणिज्य अनाज कृषि की मुख्य विशेषता क्या है?
उ.8. (i) इसकी प्रमुख फसल गेहूं है।
(ii) इसके अलावा मक्का जो राइजेज भी है खेतों का आकार बहुत बड़ा होता है।
(iii) इसमें खेत जोतने से लेकर काटने तक सभी कार्य यंत्रों द्वारा किए जाते हैं।
(iv) इसमें प्रति मजदूर उत्पादन ज्यादा होता है।
- इस प्रकार की कृषि यूरेशिया के स्टेपी, उत्तरी अमेरिका के प्रेयरी, अर्जेंटीना के पंपास, दक्षिण अफ्रीका के बेल्ड्स और ऑस्ट्रेलिया के डाउंस में की जाती है।
मिश्रित कृषि:
- इस प्रकार की कृषि में फसल उत्पादन और पशुपालन दोनों किया जाता है।
- इसमें खेतों का आकार मध्यम होता है लेकिन अधिक पूंजी लगती है।
- इसमें रसायनिक खाद का उपयोग किया जाता है और इसमें कुशल कृषकों की जरूरत होती है।
- प्रमुख फसलें गेहूं जोराई मक्का चारे इत्यादि।
- प्रमुख पशु मवेशी भेड़ सूअर।
प्र.9. सहकारी कृषि और सामूहिक कृषि में क्या अंतर है? स्पष्ट कीजिए।
उ.9. सहकारी कृषि: (i) इसमें कृषकों का एक समूह होता है।
(ii) कृषक अपनी कृषि से अधिक लाभ कमाने के लिए खुद की इच्छा से एक सहकारी संस्था बनाकर कृषि करता है।
(iii) सहकारी संस्था कृषकों को हर प्रकार से मदद देती है।
सामूहिक कृषि: (i)यह कृषि सोवियत संघ में प्रारंभ हुई थी।
(ii) इस कृषि को सोवियत संघ में कोलखहोज कहा जाता है। इसमें सभी कृषक मिलकर खेती करते हैं।
(iii) उत्पादन के साधनों पर नियंत्रण सरकार का होता है।
प्र.10. खनन से आप क्या समझते हैं? खनन की विधियां कौन-कौन सी है?
उ.10. खनन:- जमीन से महत्वपूर्ण खनिज संसाधनों को निकालने की प्रक्रिया को खनन कहा जाता है।
खनन के प्रकार: (i) धरातलीय खनन, (ii) भूमिगत खनन।
धरातलीय खनन की विधि:- इसे विवृत खनन भी कहा जाता है। यह खनन का सबसे सस्ता तरीका है। सुरक्षात्मक उपकरण में कम खर्चा होता है।
भूमिगत खनन की विधि: इसे कपकी खनन भी कहा जाता है। गहराई में स्थित खनिज को निकालने में प्रयोग। महंगा एवं जोखिम भरा।
प्र.11. खनन कार्य को प्रभावित करने वाले मुख्य कारक कौन से हैं?
उ.11. (i) भौतिक कारक जिसमें खनिज नीचे को के आकार श्रेणी एवं उपस्थिति की व्यवस्था को सम्मिलित करते हैं।
(ii) आर्थिक कारक जिसमें खनिज की मांग विद्यमान तकनीकी ज्ञान एवं उसका उपयोग और संरचना के विकास के लिए उपलब्ध पूंजी एवं यातायात व श्रम पर होने वाला व्यय आता है।